जब तुम अपने प्रिय को विदा करने आते हो एक भोंपू, सायरन या सीटी की आवाज़ तुम्हारी विकलता को ढांप लेती है
पूरा पढ़ेसंपूर्णता से वंचित व्यक्ति रिक्तता से ही पूर्ण होता है अस्तित्व की आलोचना में क्यों व्यर्थ करे समय जीवन के बढ़ते म
पूरा पढ़ेमेरे समय की भाषा विस्मृति से गुजर रही है वह भूल गई है कि हमारे पुरखों ने रखे हैं अपने समय के सबसे नुकीले सच भाषा के ग
पूरा पढ़ेवह एक छोटा सा ही रेस्तरां था जहां की पाबदा मछली तुम्हें बहुत स्वादिष्ट लगी थी तुमने और भी बातें की थीं जो अब याद नही
पूरा पढ़ेपेंसिल एक उम्मीद और नाउम्मीद दोनों है छिलते हुए उम्मीद जगाती है टूटती हुई नोंक
पूरा पढ़ेतुलसी की वैचारिकताकाआधार भक्तिहै। भक्ति की दुनिया में वे अपनी और अपने समय की लगभग सारी समस्याओं का दाहशमित हो
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